सहस्त्रनाम पाठ
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भर्गो रामो रामभक्त : कल्याणप्रकृति: स्थिर ।
विशवम्भरो विश्वमूर्तिर्विश्वाकारोऽथ विश्वप: ॥5॥
40. भर्ग:- तेज स्वरूप ।
41. राम: - जिनमें भक्तलोग रमण करते हैं ।
42. रामभक्त:- राम के भक्त ।
43. कल्याणप्रकृति: - कल्याण करना जिनका सवभाव है ।
44. स्थिर: -पर्वत के समान अचल ।
45. विश्वम्भर: - विश्व का भरण –पोषण करनेवाले ।
46. विश्वमूर्ति: -विश्व जिनकी मूर्ति है।
47. विश्वाकार: - जो सर्वस्वरूप हैं ।
48. विश्वप: - जो विश्व का पालन करते हैं।

विश्वात्मा विश्वसेव्योऽथ विश्वो विश्वहरो रवि: ।
विश्वचेष्टो विश्वगम्यो विश्वध्येय: कलाधर: ॥6॥
49. विश्वात्मा: -जो विश्व की आत्मा हैं।
50. विश्वसेव्य: -सारे विश्व के सेवनीय।
51. विश्व:- जो विश्व हैं।
52. विश्वहर: - विश्व के हर्ता ।
53. रवि: - सुर्यस्वरूप ।
54. विश्वचेष्ट: - विश्व के हित में चेष्टा करनेवाले ।
55. विश्वगम्य: -विश्व के प्राणिमात्र के प्राप्त करने योग्य ।
56. विश्वध्येय: -सबके ध्यान करने योग्य ।
57. कलाधर: - कलाओं को धारण करनेवाले ।

हनुमान साठिका (HANUMAN SATHIKA)
हनुमान साठिका का प्रतिदिन पाठ करने से मनुष्य को सारी जिंदगी किसी भी संकट से सामना नहीं करना पड़ता । उसकी सभी कठिनाईयाँ एवं बाधाएँ श्री हनुमान जी आने के पहले हीं दूर कर देते हैं। हर प्रकार के रोग दूर हो जाती हैं तथा कोई भी शत्रु उस मनुष्य के सामने नहीं टिक पाता । Read More

हनुमान बाहुक (HANUMAN BAHUK)
एक बार गोस्वामी तुलसीदासजी बहुत बीमार हो गये । भुजाओं में वात-व्याधि की गहरी पीड़ा और फोड़े-फुंसियों के कारण सारा उनका शरीर वेदना का स्थान-सा बन गया था। उन्होंने औषधि, यन्त्र, मन्त्र, त्रोटक आदि अनेक उपाय किये, किन्तु यह रोग घटने के बदले दिनों दिन बढ़ता ही जाता था। Read More
बजरंग बाण पाठ महात्मय
श्री बजरंग बाण- बजरंग बाण तुलसीदास द्वारा अवधी भाषा में रचित हनुमान जी का पाठ है । बजरंग बाण यानि की भगवान महावीर हनुमान रूपी बाण जिसके प्रयोग से हमारी सभी तरह की विपदाओं, दु:ख, रोग, शत्रु का नाश हो जाता है।Read More
श्री हनुमत्सहस्त्रनाम स्तोत्रम (HANUMAN SAHASRANAMAM STOTRAM)
जो भी मनुष्य सहस्त्रनाम स्तोत्र का पाठ करता है उसके समस्त दु:ख नष्ट हो जाते हैं तथा उसकी ऋद्धि –सिद्धि चिरकाल तक स्थिर रहती है। प्रतिदिन डेढ़ मास तक इस हनुमत्सहस्त्रनाम स्तोत्र का तीनों समय पाठ करने से सभी उच्च पदवी के लोग साधक के अधीन हो जाते हैं । Read More